शब्दों की धार 5 years ago

Poetry 4 Chapter Created 282 Reads 0 Likes

कविता केवल कवि मन की कल्पना नहीं है, अपितु ये कवियों के हृदय में समाहित भावनाओं का प्रतिरूप है। वास्तव में कविताएं समाज का आइना होती हैं। हरेक कवि आपनी रचनाओं से समाज में बदलाव की ज्वाला लिए क्रांति का आह्वान करता है।ठीक उसी प्रकार अन्य कवियों की भांति मेरी भी यह छोटी सी चेष्टा "शब्दों की धार" समाज में आवश्यक परिवर्तन के लिए क्रांति का आह्वान करती है। यहां हमें पूर्ण विश्वास है कि हमारी यह चेष्टा (काव्यसंग्रह)"शब्दों की धार" आपके रूह तक उतर जाएगी।

Mukesh Singh

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